गाजीपुर। सुभाष राम की हत्या उसकी पत्नी ने ही देवर व प्रेमी के साथ मिलकर कराई थी। वारदात को अंजाम देने के बाद गांव के कुएं में ही प्रयुक्त गड़ासा आरोपितों ने फेंक दिया व रंजिश का बदला लेने के उद्देश्य से ग्राम प्रधान व उसके पुत्र को फंसा दिया था। पुलिस ने मृतक का मोबाइल व टिकट भी बरामद किया है। बुधवार को एसपी डा. अरविद चतुर्वेदी ने पत्रकार वार्ता कर इस सनसनीखेज हत्याकांड का खुलासा किया तो लोग दांतों तले अंगुली दबा लिए। पुलिस अधीक्षक ने बताया कि बीते दो नवंबर को शादियाबाद थाना क्षेत्र के रामपुर जीवन गांव में हत्याकर गन्ने के खेत में सुभाष राम का फेंका शव मिला था। घटना स्थल पर मिले साक्ष्यों व मोबाइल काल डिटेल से जब हत्याकांड की पड़ताल की गई तो कहानी अलग निकल रही थी। सुभाष राम की हत्या में उसकी पत्नी सुषमा, छोटे भाई दिनेश राम व मित्र रामजीवन उर्फ टेंपू का नाम प्रकाश में आया। तीनों आरोपितों को पुलिस टीम ने रामपुर बलभद्र तिराहे से सुबह धर-दबोचा। मृतक के आरोपित छोटे भाई दिनेश राम का संबंध उसकी भाभी (सुभाष की पत्नी) सुषमा से हो गया था। सुभाष इस बात को जानता था। बाद में सुषमा का संबंध उसके देवर के मित्र गांव के रामजीवन उर्फ टेंपू से भी हो गया। इधर, गांव के ही दुक्खू व फेकू से जमीन का विवाद चलता है।
उसकी वर्तमान ग्राम प्रधान मदद करता था। हत्या से चंद रोज पहले ग्राम प्रधान का सुभाष से विवाद हुआ था। ऐसे में दिनेश और उसके मित्र ने मौका ताड़ दुस्साहसिक प्लान तैयार कर डाला। वह ग्राम प्रधान से बदला लेने के नीयत से भाभी (सुभाष की पत्नी) को भी विश्वास में लेकर इस प्लान को बना डाला। आरोपितों को गिरफ्तार करने वाली टीम में प्रभारी निरीक्षक किशोर कुमार चौबे, सत्येंद्र कुमार सिंह, विजय कुमार, हरिशंकर दुबे, प्रवीण कुमार, अरुण कुमार शामिल थे। आरोपित दिनेश राम ने भाभी (सुभाष की पत्नी) के साथ मिलकर प्लान बनाया कि भाई की हत्या कर दी जाएगी व प्रधान को नामजद कर जेल भेज दिया जाएगा। इससे जहां जमीन भी मिल जाएगी वहीं रामजीवन के साथ मिलकर आराम से रहा जाएगा।